कोलकाता से चला भ्रूण परीक्षण रैकेट जयपुर में ध्वस्त, विदेशी सोनोग्राफी मशीनों से हो रहा था लिंग परीक्षण
राजस्थान पीसीपीएनडीटी टीम ने कन्या भ्रूण हत्या के खिलाफ बड़ी सफलता पाई है। एक अंतरराज्यीय गिरोह पकड़ा गया है जो विदेशी पोर्टेबल सोनोग्राफी मशीनों की तस्करी कर लिंग परीक्षण करवा रहा था। कोलकाता से संचालित इस नेटवर्क में जयपुर से एक दलाल गिरफ्तार हुआ है, जांच जारी है।

Rajastan news:देशभर में फैले “भ्रूण माफिया नेटवर्क” का पर्दाफाश, जयपुर में दबोचा गया अंतरराज्यीय दलाल
राजस्थान में कन्या भ्रूण हत्या के खिलाफ जारी जंग को एक बड़ी कामयाबी मिली है। पीसीपीएनडीटी टीम ने एक ऐसे गिरोह का पर्दाफाश किया है जो न सिर्फ लिंग परीक्षण को अंजाम दे रहा था, बल्कि विदेशी पोर्टेबल सोनोग्राफी मशीनों की तस्करी कर उन्हें पूरे देश में बेच भी रहा था। इस हाई-प्रोफाइल नेटवर्क का संचालन पश्चिम बंगाल के कोलकाता से किया जा रहा था। इस ऑपरेशन की अगुवाई राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के निदेशक डॉ. अमित यादव ने की। टीम ने जयपुर रेलवे स्टेशन से हुगली, पश्चिम बंगाल निवासी 45 वर्षीय अमिताभ भादुरी को गिरफ्तार किया है, जो देशभर में भ्रूण लिंग जांच की अवैध मशीनों की डिलीवरी में दलाली करता था।
कहां से चला नेटवर्क, कैसे हुआ खुलासा?
यह गिरोह कोलकाता से संचालित हो रहा था। आरोपी अमिताभ भादुरी को पीसीपीएनडीटी टीम ने जयपुर रेलवे स्टेशन पर उस वक्त रंगे हाथों पकड़ा, जब वह 6.25 लाख रुपये में एक पोर्टेबल सोनोग्राफी मशीन की डील करने आया था। यह मशीन वह कोलकाता के डॉ. आदित्य मुरारका से लेकर आया था। टीम ने करीब दो महीने की खुफिया जांच के बाद इस ऑपरेशन को अंजाम दिया।
विदेशी मशीनें, सूटकेस में लिंग परीक्षण
इस गिरोह का सबसे खतरनाक पहलू यह है कि ये लोग विदेश से लाए गए पोर्टेबल डॉपलर सोनोग्राफी उपकरणों का इस्तेमाल कर रहे थे। ये मशीनें इतने छोटे आकार की थीं कि एक सामान्य सूटकेस में समा जाती थीं, और इनके साथ संपूर्ण सहायक उपकरण भी दिए जाते थे। इन मशीनों का मुख्य इस्तेमाल गैरकानूनी भ्रूण लिंग परीक्षण के लिए किया जाता था, जिससे कन्या भ्रूण हत्या को अंजाम दिया जाता। डॉ. अमित यादव ने स्पष्ट किया कि यह कार्रवाई कन्या भ्रूण हत्या के खिलाफ सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति का हिस्सा है। राज्य सरकार न सिर्फ पीसीपीएनडीटी अधिनियम को पूरी सख्ती से लागू कर रही है, बल्कि पूरे देश में एक मिसाल भी कायम कर रही है। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक डॉ. हेमंत जाखड़ ने भी इस बात को दोहराया कि यह केस भ्रूण हत्या के कारोबार में लिप्त लोगों के लिए एक चेतावनी है।
अब आगे क्या?
पूरे गिरोह की जड़ें उजागर करने के लिए पुलिस और स्वास्थ्य विभाग की संयुक्त टीमें अब कोलकाता सहित देशभर में आगे की जांच कर रही हैं। डॉ. आदित्य मुरारका की भूमिका की पुष्टि हो चुकी है और अन्य राज्यों में भी कई नामों की तलाश जारी है।