राजा हत्याकांड में नया खुलासा: क्या ड्रग्स की लत ने ली जान? सोनम-राज के ड्रग कनेक्शन पर सवाल

इंदौर के चर्चित राजा रघुवंशी हत्याकांड में नया मोड़ आया है। मृतक के भाई विपिन का दावा है कि आरोपी सोनम और राज ड्रग्स के लती हैं और अपने बयान से पलट सकते हैं। उन्होंने नार्को टेस्ट और सख्त पूछताछ की मांग की है ताकि साजिश की जड़ें सामने आ सकें।

स्टोरी हाइलाइट्स
  • 'न्याय चाहिए, रहम नहीं' – राजा के भाई की नार्को टेस्ट की जिद
  • हत्याकांड या रची हुई चाल? आरोपी पलट रहे बयान, परिवार बेचैन

“नशे, धोखे और साजिश के धुएं में उलझता राजा रघुवंशी हत्याकांड – परिवार की नार्को टेस्ट की मांग तेज”

इंदौर के बहुचर्चित राजा रघुवंशी हत्याकांड में अब मामला सिर्फ हत्या का नहीं रहा, यह एक गहरी साजिश, नशे की लत और झूठ के मकड़जाल में उलझता जा रहा है। अब मृतक राजा के बड़े भाई विपिन रघुवंशी ने एक और सनसनीखेज दावा किया है – उनका कहना है कि आरोपी सोनम रघुवंशी और राज कुशवाहा नशे की गिरफ्त में थे, और यही उनकी आपराधिक मानसिकता के पीछे की असली वजह हो सकती है।

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ड्रग्स का जाल और टूटा विश्वास

विपिन का दावा है कि राजा के सबसे करीबी माने जाने वाले सोनम और राज, सिर्फ व्यक्तिगत स्तर पर ही नहीं, बल्कि नशे की लत में भी एक-दूसरे के साथी थे। विपिन ने आरोप लगाया, “राज पहले से ड्रग्स लेता था, और सोनम भी उसकी संगत में पड़कर उसी रास्ते पर चली गई थी। यह नशे की दुनिया ही थी, जिसने उन्हें इंसानियत से दूर कर साजिश के रास्ते पर ले जाया।” मामले में पहले गिरफ्तार हुए आरोपी आनंद कुर्मी और आकाश राजपूत अपने बयान से पलट चुके हैं। इससे परिवार को यह संदेह है कि राज और सोनम भी जल्द ही अपने पहले दिए गए बयान से मुकर सकते हैं। विपिन ने स्पष्ट तौर पर कहा, “यदि इनका नार्को टेस्ट नहीं हुआ, तो सच्चाई दबा दी जाएगी और राजा के साथ जो हुआ, वो कभी उजागर नहीं हो पाएगा।”

थर्ड डिग्री की मांग, नार्को पर अड़े परिजन

राजा के परिजन पुलिस से मांग कर रहे हैं कि आरोपियों से नार्को एनालिसिस और ब्रेन मैपिंग जैसे वैज्ञानिक परीक्षण कराए जाएं, ताकि किसी भी प्रकार की झूठी कहानी का पर्दाफाश किया जा सके। विपिन का यह भी कहना है कि यदि जरूरत पड़े तो पुलिस को थर्ड डिग्री का इस्तेमाल भी करना चाहिए, क्योंकि हत्या की यह गुत्थी सिर्फ कानूनी दस्तावेजों से नहीं सुलझेगी, इसके पीछे गहरे रंजिश और साजिश के सूत्र जुड़े हुए हैं। अब तक इस मामले में आठ लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है, जिनमें सोनम रघुवंशी, राज कुशवाहा, विशाल चौहान, आकाश राजपूत, आनंद कुर्मी, फ्लैट का मालिक, चौकीदार और एक ब्रोकर शामिल हैं। लेकिन परिवार का दावा है कि ये सिर्फ शुरुआत है। असली मास्टरमाइंड कौन है – यह अब तक पर्दे के पीछे छिपा हुआ है। राजा के भाई और परिवार के अन्य सदस्य कह रहे हैं कि वे तब तक शांत नहीं बैठेंगे जब तक राजा को न्याय नहीं मिल जाता। “यह सिर्फ एक हत्या नहीं थी, यह विश्वासघात था – और हम इसे यूं ही नहीं जाने देंगे।” उनका कहना है कि पुलिस को पूरी ईमानदारी और गहराई से जांच करनी होगी, ताकि किसी प्रभावशाली चेहरे या ड्रग माफिया का बचाव न हो सके।

क्यों अहम है नार्को टेस्ट?

मामले में जिन लोगों के बयान पहले दर्ज हुए थे, वे अब मुकरने लगे हैं। यही वजह है कि परिजन लगातार मांग कर रहे हैं कि सोनम और राज का भी नार्को टेस्ट किया जाए। अगर यह नहीं हुआ, तो केस कोर्ट में कमज़ोर पड़ सकता है और असली गुनहगार शायद कानून की पकड़ से बच जाएं। इस हत्याकांड को लेकर इंदौर शहर में गहमागहमी है। सोशल मीडिया पर नार्को टेस्ट की मांग ट्रेंड कर रही है और लोग यह जानना चाहते हैं कि आखिर राजा की हत्या की जड़ें कितनी गहरी थीं? क्या यह सिर्फ व्यक्तिगत दुश्मनी थी या फिर एक संगठित नशा नेटवर्क का हिस्सा?

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